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मनीष पुरोहित/ मंदसौरः कोरोना महामारी के इस दौर में जहां पैसे वाले लोगों के देश छोड़कर विदेश जाने की खबरें आ रही हैं. वहीं कुछ लोग ऐसे भी हैं, जो विदेशों में बसने के बाद भी अपने देश की माटी को नहीं भूले हैं. ऐसे ही एक देवदूत हैं मंदसौर के प्रदीप गनेडिवाल. प्रदीप एक एनआरआई हैं और विदेश में रहते हैं. लेकिन जब देश में महामारी से हालात काफी खराब हैं, तो ऐसे वक्त में लोगों की मदद के लिए आगे आए हैं. 

मंदसौर में बनाया ऑक्सीजन बैंक
प्रदीप गनेडिवाल ने मंदसौर के कोरोना मरीजों की मदद के लिए ऑक्सीजन बैंक खोला है. इस ऑक्सीजन बैंक के जरिए कोरोना से संक्रमित गंभीर मरीजों को मुफ्त में ऑक्सीजन उपलब्ध कराई जा रही है. इस बैंक के पास अभी 105 ऑक्सीजन कंसंट्रेटर हैं, जिन्हें प्रदीप गनेडिवाल ने उपलब्ध कराया है. इस ऑक्सीजन बैंक की पहल से प्रदीप गनेडिवाल अब तक सैंकड़ों लोगों की जान बचा चुके हैं. इस बैंक का संचालन एक स्थानीय सामाजिक संस्था द्वारा किया जा रहा है.

इतना ही नहीं प्रदीप गनेडिवाल अभी इस ऑक्सीजन बैंक को 200 और ऑक्सीजन कंसंट्रेटर उपलब्ध कराएंगे, जो जल्द ही मिल जाएंगे. प्रशासन की तरफ से भी इस ऑक्सीजन बैंक की मॉनिटरिंग की जा रही है. बैंक द्वारा अस्पतालों और घरों में होम आइसोलेट कोरोना मरीजों को ऑक्सीजन कंसंट्रेटर उपलब्ध कराए जा रहे हैं. 

ऑक्सीजन बैंक की जिम्मेदारी संभालने वाले विकास भंडारी ने ये कहा
इस ऑक्सीजन बैंक का संचालन स्थानीय सामाजिक संस्था से जुड़े विकास भंडारी और उनके 135 साथियों द्वारा किया जा रहा है. विकास भंडारी बताते हैं कि ऑक्सीजन की कमी को देखते हुए यह ऑक्सीजन बैंक शुरू किया गया है. जिसमें प्रदीप गनेडिवाल ने आगे बढ़कर मदद की और 105 ऑक्सीजन कंसंट्रेटर दिए. जिन मरीजों को ऑक्सीजन की कमी होती है, उन्हें कंसंट्रेटर उपलब्ध कराया जाता है. जब उनकी हालत सुधर जाती है तो उनसे कंसंट्रेटर लेकर किसी अन्य मरीज को दे दिया जाता है. विकास बताते हैं कि अभी तक 500 से ज्यादा मरीजों को इस ऑक्सीजन बैंक का लाभ मिल चुका है.

प्रदीप गनेडिवाल बोले- सभी को ऑक्सीजन देना हमारा मिशन
वहीं प्रदीप गनेडिवाल बताते हैं कि मंदसौर से पहले इंदौर में कोरोना की दूसरी लहर आ चुकी थी और वहां पर ऑक्सीजन की काफी कमी महसूस हो रही थी. ऐसे में हमने सोचा था कि मंदसौर में ऑक्सीजन बैंक खोला जाए. इस ऑक्सीजन बैंक से अभी तक 500-600 लोग लाभान्वित हो चुके हैं. 200 ऑक्सीजन कंसंट्रेटर और मंगवाए गए हैं, जो अगले 5-7 दिन में आ जाएंगे. प्रदीप गनेडिवाल ने बताया कि हमारा मिशन है कि मंदसौर में किसी मरीज को ऑक्सीजन की कमी का सामना ना करना पड़े. 

इनके अलावा 4 बायपेक मशीनें भी मरीजों के लिए हमने उपलब्ध करवाई हैं. 10 और मशीनें आने वाली हैं. यही नही हम दवाइयां भी दे रहे हैं. कल हमने 36 बॉक्स दवाईयों के दिये हैं. कोरोना की टेस्टिंग के लिए RT-PCR लेबोरेटरी के लिए भी हमने सहायता की है. यह लेबोरेटरी भी 8-10 दिन में काम करना शुरू कर देगी.